जर्मनी के स्टुटगार्ट में स्वतंत्रता-सेनानी भीकाजी पटेल -कामा द्वारा पहली बार फहराया हमारा भारतीय Flag गया था । यह Flag 22 अगस्त 1907 को फहराया गया था।
यह आज़ादी के चालीस साल पहले की बात है। Flag उन्होंने भारतीय स्वतंत्र संग्राम को समर्थन देने के लिए फहराया था। उस समय यह कार्य आसान नहीं था, वो भी विदेशी धरती पर। इससे पता चलता है कि Bhikaiji Cama कोई साधारण महिला नहीं थी। उन्होंने अपने दम पर अंग्रेजी शासन से लोहा लिया था।
हम क्यों कर रहे है आज इसकी बात ?
जैसा की हम सभी जानते है कि इसे महीने 15 अगस्त को भारत अपना 75वां स्वतंत्रता दिवस मना रहा है। इसके साथ ही हम आज़ादी का अमृत महोत्सव भी मना रहे हैं। भारतीय फ्लैग का इतिहास जानना हमारे लिए बहुत ही महत्वपूर्ण हैं।
इसे भी पढ़े – https://www.thebiographypen.com/tnpl-factory-enforces-to-wear-mask/
कौन थी मैडम भीकाजी कामा?
मैडम भीकाजी कामा का पूरा नाम भीकाजी पटेल -कामा था वो भारत की स्वंत्रता सेनानी थी। वह भारतीय मूल की पारसी नागरिक थीं, जो विदेश में रहकर भारतीय आज़ादी के लिए तत्पर प्रयास कर रही थी।
उन्होंने लंदन, जर्मनी और अमेरिका जैसे देशो में जाकर लोगों को भारतीय स्वंत्रता के पक्ष में समर्थन के लिए माहौल बनाया था। मैडम भीकाजी कामा द्वारा ‘वन्देमातरम्’ पेरिस में प्रकाशित होने वाला पत्र काफी लोकप्रिय था।
इसे भी पढ़े – https://www.thebiographypen.com/joshna-chinappa-ne-bnai-antim-16-me-jagah/
तब के और आज के Flag में फ़र्क़
तब हमारा Flag ऐसा नहीं दिखता था जैसा इसका स्वरुप आज है। भीकाजी कामा के फ्लैग में हरा, पीला और लाल रंग का इस्तेमाल किया गया था जो इस्लाम, हिंदुत्व और बौद्ध मत को प्रदर्शित करता था। उसमें बीच में देवनागरी लिपि में ‘वंदे मातरम’ भी लिखा गया था।
भीकाजी कामा और श्यामजी कृष्णवर्मा ने मिलकर इसका डिज़ाइन तैयार किया था। जिससे आज का तिरंगा झंडा (National Flag) को बनाने की प्रेरणा मिली। 13 अगस्त 1936 को मैडम भीकाजी कामा की 74 वर्ष की आयु में मृत्यु हो गयी।